अंबरनाथ के दोनों ही पुलिस स्टेशनों में १५ वर्ष से कार्यरत है भ्रष्टाचारी नवनाथ लोहकारे?
गोल घेरे में वसुलीबाज नवनाथ लोहकारे
बतादें कि महाराष्ट्र पुलिस अधिनियम में किसी भी पुलिस सिपाही, हवलदार को पांच वर्ष से अधिक एक क्षेत्र में तैनात नहीं रखा जा सकता है। फिर लोहकारे जैसे भ्रष्टाचारी पुलिस सिपाही को पंद्रह वर्ष से अधिक समय तक आखिर एक ही क्षेत्र में कैसे और क्यों रखा गया है? और किसके आशीर्वाद से वह इतने वर्षों से एक ही स्थान पर कार्यरत हैं! उसका तबादला नहीं होता है। कहा जाता है इनको स्थानीय शिवसेना विधायक बालाजी किणीकर का वरदहस्त प्राप्त है। क्योंकि चुनाव में सेटिंग के माहिर हैं लोहकरे, ने उनके चुनाव मे काफी मदद किया था! सेटिंग के बेताज बादशाह या सरकार के रूप में जाने, जाने वाले नवनाथ लोहकरे की सेटिंग द्वारा प्राप्त रुपये पुलिस आयुक्तालय तक पहुंच रहे हैं? यही कारण है कि कयी बार स्थानांतरण का आदेश जारी होने के बाद भी, आदेश पर रोक लगा दिया जाता है या रद्द कर दिया जाता है? इससे जाहिर होता है कि उन्हें स्थानीय सत्ताधारी नेताओं का आशीर्वाद नहीं प्राप्त है, बल्कि पुलिस विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों का समर्थन प्राप्त है? आखिर लोहकारे को नेता और पुलिस अधिकारी इनको पसंद क्यों करते हैं, 1) चुनाव में धन की व्यवस्था से लेकर मतदाताओं में धन बाँटने की कला में महारत हासिल है। 2) सभी दो नंबरियों से कलेक्सन कर, सत्ताधारी दल के उम्मीदवारों, नेताओं को पहुचाने के लिए सभी दो नंबर के काम करते हैं। 3) अंबरनाथ यानी इनके क्षेत्र के दो नंबरी व्यापारियों को विशेष सहायता देकर अवैध धंधों को बढ़ावा देते हैं। इसीलिए स्थानीय सत्ताधारी जनप्रतिनिधि को पुलिस सिपाही लोहकारे को पसंद करते है? अब देखना यह होगा कि इस खबर के बाद ठाणे पुलिस आयुक्त लोहकरे की जांच कर उनपर उचित कार्रवाई करेंगे या फिर लोहकरे अंबरनाथ के दोनों पुलिस स्टेशनों में कार्यरत रहते हुए/ वसुली करते हुए अपनी पूरी डियुटी कर रिटायर हो जायेंगे!
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