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कोनगांव पुलिसस्टेशन की हद में चल रहे अवैध हुक्का पार्लर का मालिक कौन?

संइय्या भये कोतवाल अब डर काहेका" खड़कपाड़ा में कार्यरत पुलिस हवलदार पुत्र चला रहा है हुक्का पार्लर!!

संपादक की कलम से 
कल्याण : ठाणे पुलिस आयुक्तालय, भिवंडी परिमंडल-2,में कोनगांव पुलिस स्टेशन अंतर्गत चल रहा है, धड़ल्ले और धूमधाम से वाइल्ड लाउंज सोसल नाम से तंबाकू जनित हुक्का पार्लर व अनेकों तरह के नशे का कारोबार।

जहाँ सारे पुलिस स्टेशनों पर लिखा मिलता है दक्ष नागरिक बनों वहीं किसी भी पुलिस थाने में पुलिस कर्मियों के लिए यह नहीं लिखा जाता है कि हर पुलिसकर्मी को इमानदार बनना चाहिए और कर्तव्यदक्ष होने के साथ सरकार द्वारा दी जाने वाली तनख्वाह में खुश रहना चाहिए। शायद इसीलिए पुलिस में कार्यरत लोग ज्यादा और ज्यादा रुपया कमाने के लिए रिश्वत लेते हैं। और उससे भी एक कदम आगे बढ़कर अवैध धंधो में हिस्सेदारी निभाने लगे हैं। इसी तरह का एक उदाहरण हमारे सामने आया है। सूत्रों की अगर माने तो कोनगांव में चल रहे वाइल्ड लाउंज और सोसल नामक हुक्का पार्लर में हवलदार गोपाल का बेटा राहुल व मुकादम हिस्सेदार है और हवलदार गोपाल ठाणे आयुक्तालय क्षेत्र के खड़कपाड़ा पुलिस स्टेशन में कार्यरत है। शायद यही कारण है कि वाइल्ड लाउंज और एस एल आई हुक्का पार्लरों पर कार्यवाही नहीं हो रही है।
इस तरह चल रहे हुक्का पार्लरों में नशे की आदी होकर युवा पीढ़ी बर्बाद हो रही है। नौजवान युवक ही नहीं युवतियां भी इन हुक्का पार्लरों में देखी जा सकती है। इस तरह से मात्र शक्ती की बर्बादी से कयी पीढ़ीयों तक यह नशे का डीएनए पहुंच जायेगा जिससे यही पीढ़ी नहीं आने वाली कई पीढ़ियां प्रभावित होंगी। परंतु इससे किसीको क्या? अब देखना यह है कि इस खबर के बाद पुलिस प्रशासन गोपाल पाटील और उसके बेटे की प्रापर्टीज की जांच कर मामले को पूरी तरह से उजागर करता है या फिर ढक लेता है। अगर पुलिस महकमे में जांच की जाय तो यही नहीं अनेकों पुलिस कर्मी अवैध कारोबार में लिप्त पाये जा सकते हैं। परंतु पुलिस प्रशासन अपने ही मातहतों की जांच कर दोषी कैसे ठहरा सकता है। "इसी पर उत्तर भारत में एक कहावत प्रचलित है कि सैंया भये कोतवाल तो अब डर काहे का" 




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