आजाद नगर पैनल 7 के नगरसेवक भगवान भालेराव ने अवैध निर्माण और कमिशन के रुपयों से मतदाताओं को शिर्डी व बालाजी घुमाना शुरू कर दिया है।
उल्हासनगर: महाराष्ट्र, ठाणे जिले के उल्हासनगर मनपा चुनाव को नजदीक देख, मतदाताओं को लुभाने के लिए उपमहापौर भगवान भालेराव ने शिर्डी व बालाजी दर्शन के लिए दो बसों में भेजा! आज सुबह 7.30 पर चंद्रशेखर आजाद चौक व खेमानी से रवाना हुई दोनों बसें।
उपमहापौर भगवान भालेराव
उल्हासनगर मनपा के कई नगरसेवक पूरे पांच वर्ष फंड न होने का बहाना बनाकर वार्ड में विकास कार्य नहीं करते। तथा उल्हासनगर मनपा के सार्वजनिक निर्माण विभाग अधिकारीयों से सांठ-गांठ कर फर्जी भुगतान बनाकर सार्वजनिक बांधकाम (PWD) विभाग को चुना लगाने के साथ ही शहर में शहर विकास के लिए खाली पड़े भूखण्ड हड़पकर अवैध निर्माण कर अपनी तिजोरी भरते हैं। अब उमनपा चुनाव नजदीक देख मतदाताओं को बरगलाने व पिछली बातेँ भुलाने के लिए उन्हीं के कर रुपी रुपये को ठगकर भगवान का दर्शन करा रहे हैं।
बसस्टाप की जमीन हड़पकर बनायी गयी दुकाने
उल्हासनगर मनपा के कई नगरसेवक पूरे पांच वर्ष फंड न होने का बहाना बनाकर वार्ड में विकास कार्य नहीं करते। तथा उल्हासनगर मनपा के सार्वजनिक निर्माण विभाग अधिकारीयों से सांठ-गांठ कर फर्जी भुगतान बनाकर सार्वजनिक बांधकाम (PWD) विभाग को चुना लगाने के साथ ही शहर में शहर विकास के लिए खाली पड़े भूखण्ड हड़पकर अवैध निर्माण कर अपनी तिजोरी भरते हैं। अब उमनपा चुनाव नजदीक देख मतदाताओं को बरगलाने व पिछली बातेँ भुलाने के लिए उन्हीं के कर रुपी रुपये को ठगकर भगवान का दर्शन करा रहे हैं।
बसस्टाप की जमीन हड़पकर बनायी गयी दुकाने
कहाँ से आये रुपये
साढ़े चार वर्ष मनपा के पास विकास के लिए रुपये नहीं होते हैं और चुनाव नजदीक आते ही रुपये कहां से आ जाते हैं? यह एक विचारणीय ही नहीं आश्चर्यजनक विषय है। इस समय मनपा क्षेत्र के लगभग सभी वार्डों में विकास कार्य शुरू हो गया है। वर्तमान नगरसेवकों का यह आखिरी वर्ष है। अगर सही समय पर चुनाव हुए तो मार्च 2022 के अंत तक चुनाव हो जाने चाहिए क्योंकि वर्तमान शत्र 2022 के अप्रैल खत्म हो जायेगा और मनपा बर्खास्त हो जायेगी।
उपमहापौर बने भालेराव
भगवान भालेराव शिवसेना के कंधों पर सवार होकर उप महापौर पद का सफर तय किया। पद पाने के साथ ही सारे शहर में अवैध निर्माण का ठेका लेने के लिए अपने कयी लोगों को मैदान में उतार दिया। शहर के विवादास्पद जगहों पर मोटा मुनाफा लेकर अवैध निर्माण करवाया। यही नहीं एक नंबर बस स्टाप की जमीन हड़पी और वहाँ दुकाने बनवाई। जिसकी शिकायत पत्रकार सिद्धांत गाड़े ने मंत्रालय से लेकर एसटी डिपार्टमेंट तक की परंतु वहां राष्ट्रीय मंत्री रामदास आठवले की तस्वीर देख कोई कार्रवाई करने को तैयार नहीं हुआ। इसी तरह शहर में अनेकों भूखण्ड हड़पे।
बदनाम झा कंपनी को रोड का ठेका
चंद्रशेखर आजाद चौक से लालबहादुर शास्त्री चौक तक सिमेंट कांक्रीट रोड निर्माण का ठेका उमनपा द्वारा पास किया गया है। यह ठेका भालेराव ने अपनी पसंदीदा झा कंस्ट्रक्शन कंपनी को दिलवाया है। बतादें झा कंपनी द्वारा मनोज किराना स्टोर से बंसराज यादव के घर व रमाबाई अंबेडकर नगर में बनायी सिमेंट कांक्रीट सड़क पहली ही बरसात में उखड़ व बह गयी थी। जिसकी शिकायत बजरंग दल कार्यकर्ता आशिष यादव ने की थी परंतु कोई कार्रवाई नहीं हुई। अब फिर उसी झा कंपनी को ठेका दिलवाया गया है। सुत्रो से मिली जानकारी अनुसार इस साढ़े पांच करोड़ रुपए के ठेके से 10 प्रतिशत कमिशन के रुप में भालेराव को लगभग 55 लाख रुपये मिले हैं? उन्हीं रुपयों मेसे 25 - 50 हजार खर्च कर मतदाताओं को रिझाया जा रहा है। बाकी रुपये चुनाव के समय हजार, दो हजार रुपये की दर से वोट खरीदने के लिए काम आयेगा ऐसा लोग कह रहे हैं। 3 वार्ड के पैनल में जीत के लिए दो से ढाई हजार वोटों की जरूरत होगी अगर प्रति वोट 2 हजार की दर से भी खरीद मिले तो 10 लाख में यह सौदा महंगा नहीं होगा। इस तरह 10 - 15 लाख खर्च कर पांच वर्षों में कयी करोड़ की कमाई का व्यापार बन गया है, नगरसेवक चुनाव। भगवान भालेराव ने मतदाताओं को दाना डालना शुरू कर दिया है। परिणाम तो उल्हासनगर मनपा चुनाव के बाद ही दिखाई देगा।
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